तुर्की में 'चूहों के जैसे छिपकर' आखिर क्यों
रह रहे हैं सीरियाई शरणार्थी
तुर्की के गृह मंत्री ने कहा ये बड़ी बात कि गुज़रे छह महीनों में लगभग 600,000 प्रवासी स्वेच्छा
से अपने मुल्क लौट गए हैं
सीरियाई प्रवासियों का मानना है कि कुछ लोगों को उनकी खवाहिश के ख़िलाफ़ निर्वासित किया जा रहा है
यासेर पांच वर्ष से इस्तांबुल में अपने फैमली के साथ रह रहा था, जब तीन माह पहले पुलिस उस के कारखाने में पहुंची जहां पर
वह काम करता था
पुलिस यासेर की काग़ज़ात की
जांच के लिए आई थी
यासेर इस्तांबुल का स्थान अंकारा में रहने के लिए पंजीकृत था इस वजह से पुलिस उन्हें खुदके साथ ले गई
उनको पहले शहर के बाहर वाले इलाके तुजला में निष्कासित किए जाने वाले लोगों के लिए बनाया गया एक केंद्र में भेजा गया
फिर वहां से उन्हें सीरियाई सीमा से लगभग 150 कि.मी. दूर मेर्सिन भेज दिया गया
करीब तीन दिनों तक उनकी वाइफ ज़ाना उनसे मिल नहीं पाईं
उनका कहना हैं,की ''हमको बस इतना पता था कि पुलिस उन्हें ले गई है, मगर मुझे ये नहीं पता था कि वो कहां हैं